एक समय की बात है, एक छोटे से गाँव में एक प्यारा सा लड़का रहता था जिसका नाम था **कावली**। कावली बहुत होशियार और चुलबुला बच्चा था, लेकिन उसके बारे में एक खास बात थी—उसे कभी भी कोई चीज़ ठीक से याद नहीं रहती थी। वह हर बात भूल जाता था, चाहे वो उसकी मम्मी का कहना हो या स्कूल का होमवर्क।
### **कावली और उसकी याददाश्त की समस्या**
कावली के दोस्त अक्सर उसका मजाक उड़ाते थे, क्योंकि जब भी कोई उससे पूछता, "कावली, आज स्कूल में क्या पढ़ाया?" वह कहता, "उउ...पता नहीं, शायद... शायद कोई कहानी थी!" और सब हंस पड़ते। लेकिन कावली की मम्मी उसे हमेशा समझाती थीं, "बेटा, ध्यान से सुना करो, और याद रखने की कोशिश करो।"
एक दिन, कावली अपने दोस्त **गोलू** के साथ खेल रहा था, तभी गोलू ने कहा, "कावली, सुना है जंगल के अंदर एक जादुई पेड़ है, जो किसी को भी याद रखने की शक्ति दे सकता है। क्यों न हम उसे ढूंढने चलें?" कावली की आँखें चमक उठीं। उसे लगा कि अगर वह पेड़ ढूंढ लेगा, तो शायद उसकी याददाश्त ठीक हो जाएगी।
### **जंगल का रोमांच**
कावली और गोलू दोनों जंगल में चल दिए। रास्ते में उन्हें तरह-तरह के जानवर मिले—तोतों की चहचहाहट, खरगोशों की उछल-कूद, और बंदरों की मस्ती। पर कावली और गोलू का ध्यान सिर्फ उस जादुई पेड़ को ढूंढने में था। चलते-चलते, वे एक पुराने और रहस्यमयी रास्ते पर पहुँच गए जहाँ पेड़ों की डालें आपस में उलझी हुई थीं और रास्ता बहुत संकरा हो गया था।
अचानक, उन्होंने देखा कि एक बड़ा और चमकदार पेड़ उनके सामने था। पेड़ की पत्तियाँ सोने जैसी चमक रही थीं और उसकी शाखाओं पर छोटे-छोटे सितारे झूल रहे थे। कावली ने गोलू से कहा, "यही तो है वह जादुई पेड़!" दोनों दोस्त खुश होकर पेड़ के पास पहुँचे।
### **जादुई पेड़ का रहस्य**
जैसे ही कावली ने पेड़ को छुआ, एक चमकदार रोशनी पेड़ से निकलकर कावली के चारों ओर फैल गई। पेड़ की पत्तियों ने एक धीमी, गूंजती हुई आवाज़ में कहा, "कावली, मैं तुम्हें याद रखने की शक्ति दे सकता हूँ, लेकिन बदले में तुम्हें एक वादा करना होगा।"
कावली ने उत्सुकता से पूछा, "कौन सा वादा?"
पेड़ ने कहा, "तुम्हें हर दिन कुछ अच्छा सीखना होगा और दूसरों को भी सिखाना होगा।"
कावली ने तुरंत हाँ कर दी। जैसे ही उसने हाँ कहा, पेड़ की एक पत्ती टूटकर कावली के हाथ में गिर गई और कावली को अचानक एक ठंडी हवा का एहसास हुआ। उसने महसूस किया कि अब वह सब कुछ याद रख सकता है।
### **कावली का नया जीवन**
अगले दिन, कावली जब स्कूल गया, तो उसने ध्यान से सब कुछ सुना और हर बात को याद रखा। उसके दोस्त भी हैरान थे जब उसने उन्हें सबक सुनाया और खेल के नए नियम याद दिलाए। अब कावली की याददाश्त इतनी तेज़ हो गई थी कि वह हर चीज़ आसानी से याद कर लेता था।
लेकिन कावली ने अपना वादा नहीं भुलाया। हर शाम, वह अपने दोस्तों को नई बातें सिखाता और उनके साथ नई कहानियाँ शेयर करता। कावली की मम्मी और उसके टीचर भी बहुत खुश थे, और गाँव के सारे बच्चे अब उसे बहुत मानते थे।
### **सीख:**
"ज्ञान का असली जादू उसे दूसरों के साथ बाँटने में है।"
इस तरह, कावली की कहानी गाँव में मशहूर हो गई, और वह जादुई पेड़ कावली की याददाश्त के साथ-साथ उसके दिल का भी हिस्सा बन गया।
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